शुक्रवार, 20 अगस्त 2021

    

मुकदमों की सुनवाई बंगाल से बाहर होने 

 पर ही न्याय की उम्मीद

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 सी.बी.आई.जांच के अदालती निर्णय के 

   साथ ही ममता बनर्जी की राष्ट्रीय 

   राजनीतिक महत्वाकांक्षा पर लग

   गया ग्रहण  !!!!!

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--सुरेंद्र किशोर-

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 यह एक अच्छी बात हुई है ।

 कोलकाता हाईकोर्ट ने पश्चिम बंगाल चुनाव के बाद हुई हत्या और बलात्कार की घटनाओं के मामलों की जांच का काम सी.बी.आई.को सौंप दिया है।

मानवाधिकार आयोग की रपट आने के बाद ऐसा निर्णय आया है।

    किंतु उन मुकदमों की सुनवाई जब तक दूसरे राज्य में नहीं होगी, तब तक पीड़ितों व पीड़ित परिवारों को न्याय मिलने की उम्मीद कम है।

  संभवतः आगे चलकर यह आदेश भी कोलकाता हाई कोर्ट को देना ही पड़ेगा।

  इस बात की कोई उम्मीद नहीं कि सुप्रीम कोर्ट कोलकाता हाई कोर्ट के आज के इस ताजा निर्णय में कोई हस्तक्षेप करेगा।

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 माना जा रहा है कि इस अदालती निर्णय के साथ ही ममता बनर्जी की राष्ट्रीय महत्वाकांक्षा पर भी पानी फिर जाएगा।

याद रहे कि सी.बी.आई. के अनुसंधान के साथ ही एक से एक सनसनीखेज कारनामों के विवरण देश के सामने आने लगेंगे।

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पिछले कुछ महीनों की राजनीतिक चर्चाओं व अंतःपुर की बैठकों से एक बात छन कर आती रही थी।

वह यह कि उनके जिद्दी स्वभाव के कारण ममता बनर्जी के नाम पर कोई आम सहमति नहीं बन पा रही थी।

माना जा रहा है कि ममता बनर्जी में सबको साथ लेकर चलने की प्रौढ़ता नहीं है।

  याद रहे कि बंगाल चुनाव के बाद कुछ लोग 2024 के लोस चुनाव के लिए प्रतिपक्ष के साझा उम्मीदवार के रूप में ममता का नाम चला रहे थे।

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19 अगस्त 21  


  


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