मंगलवार, 18 सितंबर 2018

अगले लोक सभा चुनाव के रिजल्ट को लेकर छिटपुट भविष्यवाणियां अभी से होने लगी हंै।
मेरी राय में ऐसी किसी भविष्यवाणी के लिए कम से कम जनवरी तक का इंतजार कर लेना चाहिए।
 वैसे तो उन लोगों के लिए कोई फर्क नहीं पड़ता जो अपनी इच्छा को भविष्यवाणी के रूप में पेश करते रहते हैं।वे लोग तो अपना काम करते ही रहेंगे जिन्हें भविष्यवाणियां करके खास तरह की हवा बनानी है।
 किन्तु वस्तुपरक व तार्किक भविष्यवाणी के लिए अभी अवसर परिपक्व नहीं है।क्योंकि  दोनों परस्पर विरोधी राजनीतिक जमातों के तरकस से अभी कई तीर निकलने बाकी हैं।तब तक कुछ राज्यों के चुनाव नतीजे भी सामने आ चुके होंगे।
  एक बात और। राजनीतिक विश्लेषकों व अन्य लोगों को अपना पिछला रिकाॅर्ड खुद ही एक बार देख लेना चाहिए।उन्होंने पिछले दो -तीन लोक सभा चुनावों में किसकी जीत की भविष्यवाणी  की थी और जीता कौन ? उनमें से कितनों ने अपनी साख की कीमत पर भविष्यवाणी की थी ?
कितने खरे उतरे थे ?
   किसी नेता,पार्टी या दल की आलोचना और प्रशंसा जो करनी हो ,करते रहिए।पर  चुनावी भविष्यवाणी करनी हो तो राजदीप सरदेसाई बन जाइए।
राजदीप ने पिछले  उत्तर प्रदेश, गुजरात और कर्नाटका विधान सभा चुनावों के रिजल्ट की लगभग सटीक भविष्यवाणियां की थीं।
 मेरा राजदीप से कोई परिचय नहीं।उसकी जरूरत भी नहीं।पर, जो किसी एक क्षेत्र में भी ठीक काम कर रहा हो तो उसकी प्रशंसा होनी ही चाहिए।



   

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