मंगलवार, 24 जुलाई 2018

1983 के बाॅबी हत्या कांड और 1999 के शिल्पी जैन 
हत्या कांड के प्रभावशाली दोषियों को सजा मिल गयी 
होती तो मुजफ्फर पुर बालिका गृह यौन हिंसा कांड के 
महा पापियों के हाथ पहले ही रुक गए होते।
  यदि इन महा पापियों को इस बार भी तौल कर सजा नहीं मिलेगी तो आगे भी अबलाओं के साथ ऐसे घृणित पाप होते रहेंगे।

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