शुक्रवार, 15 फ़रवरी 2019

कुछ दशक पहले मुझे डा.नामवर सिंह के साथ टुकड़ों में कुछ घंटे बिताने का अवसर मिला था।
  स्वास्थ्य-रक्षा के लिए उन्हें दो काम करते देखा।
उन्हें नाश्ते के साथ एक सेव जरूर लेते देखा।भोजन के बाद उन्हें वज्रासन पर बैठते भी देखा।
 इन दो मामलों में कोई कोताही नहीं।

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